मूंगफला के बहाने


<<< मूंगफला के बहाने >>> पड़ाव के नुक्कड़ पर मूंगफली वाला अपना ठेला लगाता है। सवेरे दस बजे हैं तो आ ही गया होगा। देवकली से आता है। आते आते भी समय लगता है। तीन चार तरह की मूंगफली रखता है। एक सिगड़ी पर भूनता भी है और हाथ के हाथ बेचता है। दो तीनContinue reading “मूंगफला के बहाने”

दशरथदास जी का जीवन देखने की चाह


<<< दशरथदास जी का जीवन देखने की चाह >>> प्रेमसागर ने मेला क्षेत्र से दो चरित्रों से परिचय कराया। बेतिया के श्रीकांत जी और राम रगड़ आश्रम, प्रह्लादघाट, अयोध्या के दशरथदास जी से। मैं जिस तरह की दुनियां-समाज में रह रहा हूं, उससे अलग हैं ये लोग। श्रीकांत जी बेतिया में किसी मंदिर में हैं।Continue reading “दशरथदास जी का जीवन देखने की चाह”

फुटकर पोस्ट


अरुणा अरुणा हमारे घर काम करती है। आज अपने घर से गुड़हवा सेव का लेडुआ और जोन्हरी का लेडुआ/ढूंढी बना कर लाई और मेरे पैर छू कर मेरी मेज पर एक कटोरी में रख गई। मकर संक्रांति पर इससे अच्छा और क्या हो सकता था। ताजा बना यह सब ऐसा लगा मानो गंगा नहा करContinue reading “फुटकर पोस्ट”

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