चूल्हे का डिजाइन मिनिमलिस्ट है। उसमें दो कतारें हैं ईंटों की। बारह ईंटें जमा कर रखने से चूल्हा बन गया। चूल्हे में दोनो तरफ से लकड़ियांं लगाई गयी हैं। लकड़ियां भी पानी के टंकी बनाने में प्रयुक्त लकड़ी-बल्ली है।
भारतीय रेल का पूर्व विभागाध्यक्ष, अब साइकिल से चलता गाँव का निवासी। गंगा किनारे रहते हुए जीवन को नये नज़रिये से देखता हूँ। सत्तर की उम्र में भी सीखने और साझा करने की यात्रा जारी है।
चूल्हे का डिजाइन मिनिमलिस्ट है। उसमें दो कतारें हैं ईंटों की। बारह ईंटें जमा कर रखने से चूल्हा बन गया। चूल्हे में दोनो तरफ से लकड़ियांं लगाई गयी हैं। लकड़ियां भी पानी के टंकी बनाने में प्रयुक्त लकड़ी-बल्ली है।