यदि हमारे पास यथेष्ट चरित्र न हो तो हमारी शक्तियों की बजाय हमारी दुर्बलतायें ही अधिक प्रभावी होंगी, हमारे सौभाग्य की तुलना में हमारा दुर्भाग्य ही अधिक प्रबल होगा, हमारे जीवन में सुख शांति की जगह शोक विषाद की ही बहुतायत होगी और हमारे भविष्य की तुलना में हमारा अतीत ही अधिक गौरवशाली होगा। यदिContinue reading “यदि हमारे पास यथेष्ट चरित्र न हो —”
Category Archives: Self Development
मित्रों, आप तो मेरा पर्सोना ही बदल दे रहे हैं!
किसी भी जन्म दिन पर नहीं हुआ कि मुझे इतने एकोलेड्स (accolades – प्रशस्तियाँ?) मिले हों। सुकुल ने तो इतना कहा कि जितना मेरे किसी जगह के फेयरवेल में भी नहीं कहा गया। सभी कुछ सुपरलेटिव! उसके बाद तो आप सब ने इतना चढ़ाया कि मुझे अपने पर्सोना (persona – व्यक्ति का सामाजिक पक्ष) मेंContinue reading “मित्रों, आप तो मेरा पर्सोना ही बदल दे रहे हैं!”
गाय, कुत्ते और रोटियाँ – देव और दानव
सवेरे की सैर के दौरान देखा – एक घर से गृहणी ने सात-आठ रोटियाँ और सड़क पर फेंकीं। पास ही एक गाय खड़ी थी। वह खाने लगी। गली के कुछ कुत्ते दौड़ते हुये आये और रोटियाँ छीनने के लिये गाय पर भौंकने लगे। गाय ने सींगों का सहारा लिया, पर एक बड़ा कुत्ता लगभग आधीContinue reading “गाय, कुत्ते और रोटियाँ – देव और दानव”
