असल में मेढक वह प्राणी नहीं है जो स्थिति का सही सही आकलन नहीं कर पाता। सही आकलन न करने वाले हम हैं। जब हम यह कहानी सुनते हैं और, प्रथमदृष्ट्या, इसे सही मानते हैं; तब हम शायद ही इसपर कोई प्रश्न चिन्ह लगाते हैं!
मैं, ज्ञानदत्त पाण्डेय, गाँव विक्रमपुर, जिला भदोही, उत्तरप्रदेश (भारत) में रह कर ग्रामीण जीवन जानने का प्रयास कर रहा हूँ। मुख्य परिचालन प्रबंधक पद से रिटायर रेलवे अफसर; पर ट्रेन के सैलून को छोड़ गांव की पगडंडी पर साइकिल से चलने में कठिनाई नहीं हुई। 😊
असल में मेढक वह प्राणी नहीं है जो स्थिति का सही सही आकलन नहीं कर पाता। सही आकलन न करने वाले हम हैं। जब हम यह कहानी सुनते हैं और, प्रथमदृष्ट्या, इसे सही मानते हैं; तब हम शायद ही इसपर कोई प्रश्न चिन्ह लगाते हैं!