कमलेश किशोर और आजतक रेडियो


लोगों की सोच को जो मीडिया ने हाईजैक कर लिया है, वह इस युग की बड़ी और भीषण क्राइसिस है। उसने लोगों की सोच को उद्दीप्त नहीं, कुंद ही किया है। सही सोच के तो छोटे छोटे द्वीप ही दिखते हैं। तीनताल वाले उनमें से हैं।

हंगामा क्यों है बरपा – बेबाक बुधवार का ट्विटर स्पेस


बहुत अधिक हंगामों के युग में होना, बहुत सारी रोचकता तलाशना, बात बात पर बड़ी खबर चीखती टीवी एंकर से दो-चार होना, नई पोस्ट, नयी लाइक-कमेण्ट के डोपेमाइन का लती होना; यह अभिशाप नहीं तो क्या है?

ट्विटर स्पेसेज पर आजतक रेडियो वालों का बेबाक बुधवार


आप आजतक रेडियो को ट्विटर पर फॉलो करें और बुधवार रात नौ बजे पालथी मार कर तीन घण्टा ट्विटर पर अपनी टाइमलाइन खोल कर आजतक रेडियो के चिन्ह को क्लिक कर सुनना प्रारम्भ करें। मजा भागवत पुराण सुनने जैसा आयेगा। पक्का।

Design a site like this with WordPress.com
Get started