टटरी के नीचे मसहरी में सोता मुहम्मद दाऊद अंसारी


तख्ते पर मसहरी लगी है और वह गहरी नींद सो रहा है। उसकी नयी चप्पल नीचे जमीन पर है। कोई उस्ताद अभी तक उसकी नयी चप्पल उड़ा कर नहीं ले गया?! जब वह गुमटी के अंदर सोता था तो चप्पल भी अंदर ही रखता था।

जलपाईगुड़ी से फालाकाटा


नदी में सूरज की अरुणिमा चमत्कारी दृश्य प्रस्तुत करती है।
प्रेमसागर जिस स्थान पर रुके थे, वह नदी से साढ़े चार किमी दूर है नक्शे में। जरूर वे चार बजे उठ कर निकले होंगे। जो आदमी भोर में उठ कर निकलता है, वही आनंद ले सकता है ऐसे दृश्यों का।

श्री त्रिस्त्रोता शक्तिपीठ और आगे


“भईया यहां सांप बड़े बड़े दिखे। सोपारी की भी खेती होती है। सागौन के जंगल भी बहुत दिखे। बांस का भी खूब इस्तेमाल दिखा। नहर जो महानंदा को तीस्ता से जोड़ती है उसमें पानी महानंदा की ओर से तीस्ता की ओर बह रहा था।”

Design a site like this with WordPress.com
Get started