घर घर जल का छल


<<< घर घर जल का छल >>> मेरे घर से आधा किलोमीटर दूर बनी है पानी की टंकी। उसपर लिखा है कि उसकी क्षमता 175 किलोलीटर की है। मैं उस टंकी परिसर तक पैदल चला गया। परिसर पर ताला तो नहीं लगा था पर वहां कोई दिखा नहीं। वहां विशालकाय सोलर पैनल लगे हैं। लगताContinue reading “घर घर जल का छल”

रामसेवक


<<< रामसेवक >>> रामसेवक मेरे पड़ोसी हैं और मेरे बगीचे की देखभाल करने वाले भी। उनके ऊपर मेरे ब्लॉग पर अनेक पोस्टें हैं। कभी कभी मुझे लगता है कि चरित्रों के बारे में लिखे का संकलन करूं, तो उसके अनुसार रामसेवक पर ही एक छोटी मोटी पुस्तक बन जायेगी। य्स दिन सवेरे जब हम अपनाContinue reading “रामसेवक”

कोहरा – साइकिलवाद से पैदलवाद की ओर


<<< कोहरा – साइकिलवाद से पैदलवाद की ओर >>> नये साल का संकल्प कि रोज दस हजार से ज्यादा कदम चलना है; सिर मुड़ाते ही ओले पड़ने जैसा कुछ साबित हुआ। साल की शुरुआत ही मौसम के खराब होने और कोहरा गहराने से हुई। साइकिल चलाना तो कोहरे में सही नहीं था, घर परिसर मेंContinue reading “कोहरा – साइकिलवाद से पैदलवाद की ओर”

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