सरकते बॉटलनेक्स (Bottlenecks)


जहां कहीं कतार लगी दिखे तो मान लीजिये कि आगे कहीं बॉटलनेक है। बॉटलनेक माने बोतल की संकरी गर्दन। किसी असेम्बली लाइन या यातायात व्यवस्था में इसके दर्शन बहुधा होते हैं। रेलवे आरक्षण और पूछताछ की क्यू में इसके दर्शन आम हैं। बॉटलनेक कैसे दूर करें? अगर सिस्टम बहुत जटिल है तो उसमें बॉटलनेक कोContinue reading “सरकते बॉटलनेक्स (Bottlenecks)”

वृक्षारोपण ॥ बाटी प्रकृति है


  पण्डित शिवानन्द दुबे मेरे श्वसुर जी ने पौधे लगाये थे लगभग १५ वर्ष पहले। वे अब वृक्ष बन गये हैं। इस बार जब मैने देखा तो लगा कि वे धरती को स्वच्छ बनाने में अपना योगदान कर गये थे। असल में एक व्यक्ति के पर्यावरण को योगदान को इससे आंका जाना चाहिये कि उसनेContinue reading “वृक्षारोपण ॥ बाटी प्रकृति है”

पेपर या प्लास्टिक के थैले?


यह मेरे मनपसन्द विषय पर रीडर्स डाइजेस्ट से लिया गया मसाला है। चूंकि अब सर्वोत्तम नहीं छपता और मैं यह अंग्रेजी नहीं हिन्दी में प्रस्तुत कर रहा हूं – अत: मेरे विचार से यह चुरातत्वीय होते हुये भी चल जायेगा। मेरी पत्नी जी का झोला। वैसे भी शब्द मेरे अपने हैं – रीडर्स डाइजेस्ट केContinue reading “पेपर या प्लास्टिक के थैले?”

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