रामगुन चौहान, पपीता वाले


साठ साल का आदमी, ईंट भट्ठा मजूरी से खड़ा हुआ। अब छब्बीस लाख की जमीन का बैनामा कराने की क्षमता रखने वाला हो गया है। रामगुन में रामजी ने गुण जरूर भरे होंगे!

संतोष गुप्ता की गांवदेहात में डिजिटल सर्विस


5-7 साल में जो डिजिटल विस्फोट हुआ है – गांवदेहात के स्तर पर भी; वह अभूतपूर्व है। गांवों की डिजिटली निरक्षर जनता की पटरी डिजिटल सुविधाओं से बिठाने के लिये संतोष गुप्ता जैसे लोगों की बहुत आवश्यकता है।

पुनरावलोकन – सुशासन आई बबुआ हाली-हाली आई। रेलिया से आई हो, पटरिया पर आई।


गोण्डा-बलरामपुर का क्षेत्र पूर्वांचल का देहाती-पिछड़ा-गरीब क्षेत्र है। पर मैने उन बच्चों को देखा तो पाया कि लगभग सब के सब के पैरों में चप्पल या जूता था। सर्दी से बचाव के लिये हर एक के बदन पर गर्म कपडे थे।

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